अभी थोड़ी देर पहले मैंने भड़ास पर एक पोस्ट देखी जिसमें पूछा गया था की अगर आप कोई और तरीके से हिंदी में लिखते हैं तो अपना ज्ञान यहां बांटे। और मैं लेकर आ गया अपना तरीका। जिसका प्रयोग करके मैं पिछले 2-3 सालों से हिंदी में लिख रहा हूं।
आप इस पते पर जायें। http://www.classifieds.co.in/hindi.html यहां आपको ये टूल मिल जायेगा। मैनें ये पहली बार और्कुट के एक कम्यूनिटी, जिसका नाम हिंदी कविता है, उस पर पाया था।
मुझे ये अत्याधिक पसंद है और मेरे लगभग हर पोस्ट में कहीं ना कहीं से मैंने इसका प्रयोग कर रखा है। और वो भी तब जबकि मैं गूगल का, डायरेक्ट फोनेटिक टूल का और हिंदी यूनीकोड फोनेटिक टूलकिट का प्रयोग करना अच्छे से जानता हूं।
इसके कई कारण हो सकते हैं, पहला तो ये कि जब कोई भी टूल उपलब्ध नहीं था लगभग तभी से मैं इसका प्रयोग कर रहा हूं और मुझे इसकी आदत पर चुकी है और मैं परिवर्तन नहीं चाहता हूं।
दूसरा कारण ये है कि हम आनलाईन रहें या आफ़लाईन इससे कोई फर्क नहीं परता है और ये बिलकुल सही-सही काम करता है। गूगल जैसा नहीं जो सिर्फ आनलाईन रहने पर ही काम करता है।
तीसरा कारण ये कि गूगल की ही तरह आप रोमण में लिखते हैं और ये हिंदी में उसे बदल देता है और इसमें लिखने का तरीका भी बहुत आसान है। और ये जिस समय का टूल है उस समय ऐसे टूल बहुत ही कम उपलब्ध थे।
मेरी आप लोगों से सलाह है कि अगर आपने कभी इसे नहीं आजमाया है तो एक बार आप भी इसे आजमा कर देख लें।
Thursday, January 17, 2008
हिंदी में लिखने का मेरा औजार
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
3 comments:
कलम और कीबोर्ड के इस युग में लिखने के लिए औजारों का इस्तेमाल करते हैं आप। तो यह बतलाइए जनाब कि सोचने विचारने के लिए कौन से उपकरणों की मदद लेते हैं पीडी महाशय।
सोचने के लिये मेरा मानसिक औजार ही काफी है..
वैसे भी क्या आप कलम और कीबोर्ड को औजार से अलग सोचते हैं क्या?
बधाई संदेश
नमस्ते , नमस्कार ,शुभ प्रभात आप सभी मित्रों को स्वामी तरुण मिश्रा की ओरसे नव संवत २०६५ ,दुर्गा पूजा और झूलेलाल जयंती की हार्दिक शुभ कामनाएं .............................
उर में उत्साह रहे हर पल , विकसित हों तीनों तन ,मन ,धन ,
स्वर्णिम प्रभात लेकर आये , जो वर्ष आ रहा है नूतन ।
पुष्पित हो और पल्लवित हो , आप का सघन जीवन उपवन ,
सस्नेह बन्धु स्वीकार करो स्नेहिल उर का अभिनन्दन
Post a Comment